परमेश्वर के अंत के दिनों के न्याय कार्य और प्रभु यीशु के कार्य में क्या अंतर है?
कुछ लोग मानते हैं कि प्रभु यीशु के पुनर्जीवित हो कर स्वर्ग में आरोहित होने के बाद, पिन्तेकुस्त के दिन मनुष्य पर कार्य करने के लिए पवित्र आत्मा नीचे आया। उसने पाप, धार्मिकता और न्याय के संसार की कटु आलोचना की। जब हम पवित्र आत्मा के कार्य को ग्रहण कर अपने पापों के लिए प्रभु के समक्ष पश्चाताप करते हैं, तब हम प्रभु के न्याय का अनुभव करते हैं। पिन्तेकुस्त के दिन पवित्र आत्मा द्वारा किया गया कार्य परमेश्वर के अंत के दिनों का कार्य होना चाहिए। क्या इसको ग्रहण करने की हमारी विधि सही है? प्रभु यीशु के कार्य और परमेश्वर के अंत के दिनों के न्याय कार्य में क्या अंतर है?
चमकती पूर्वी बिजली, सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया का सृजन सर्वशक्तिमान परमेश्वर के प्रकट होने और उनका काम, परमेश्वर यीशु के दूसरे आगमन, अंतिम दिनों के मसीह की वजह से किया गया था। यह उन सभी लोगों से बना है जो अंतिम दिनों में सर्वशक्तिमान परमेश्वर के कार्य को स्वीकार करते हैं और उसके वचनों के द्वारा जीते और बचाए जाते हैं। यह पूरी तरह से सर्वशक्तिमान परमेश्वर द्वारा व्यक्तिगत रूप से स्थापित किया गया था और चरवाहे के रूप में उन्हीं के द्वारा नेतृत्व किया जाता है। इसे निश्चित रूप से किसी मानव द्वारा नहीं बनाया गया था। मसीह ही सत्य, मार्ग और जीवन है। परमेश्वर की भेड़ परमेश्वर की आवाज़ सुनती है। जब तक आप सर्वशक्तिमान परमेश्वर के वचनों को पढ़ते हैं, आप देखेंगे कि परमेश्वर प्रकट हो गए हैं।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें